बीकानेर, 28 अक्टूबर। पूर्व सिंचाई मंत्री देवी सिंह भाटी के पुराने देशी पराम्परागत चिकित्सा के नुस्खों संकलित व लिखित पुस्तक’’ हर बीमारी का इलाज घर रसोई में’’ का लोकार्पण बुधवार को मुरलीधर व्यास नगर स्थित संन्यास आश्रम में हुआ।
मुख्य अतिथि अर्जुन एवार्डी फुटबालर मगन सिंह राजवीं थे। अध्यक्षता लालेश्वर महादेव मंदिर के अधिष्ठाता स्वामी विमर्शानंद गिरि ने की। समारोह में पूर्व संसदीय सचिव कन्हैयालाल झंवर, पूर्व प्रधान राधा देवी सियाग, ज्योतिषाचार्य राजेन्द्र किराडू, हरि नारायण व्यास ’’मन्नासा’’ समाज सेवी विमल डागा, गोचर संरक्षण आंदोलन के बृृज रतन किराडू, पीलीबंगा के प्रदीप सिंह राठौड, प्रधान लालचंद आसोपा, कर्नल हेम सिंह, बाड़मेर के जोगेन्द्र सिंह चैहान थे। भाटी कार्यों का परिचय पूर्व सरपंच राम किशन आचार्य व पुस्तक तथा अतिथियों का परिचय ज्योति प्रकाश रंगा ने दिया।
समारोह में भाटी ने पुस्तक के अपने व रोगियों पर अजमाएं गए अनेक सफल चिकित्सा नुस्खों को बताया । उन्होंने कहा कि इन नुस्खों को अपना कर हम अंग्रेजी दवाइयों के खर्च व शरीर में होने वाले दवाइयों के दुष्प्रभाव से बच सकेंगे। हमारे परम्परागत ज्ञान,ग्रंथांें में प्रायः हर बीमारी की सस्ती व जड़ से रोग समाप्त करने की जानकारी उपलब्ध है। लोग परम्परागत ईलाज की बजाए ऐलोपैथिक चिकित्सा निर्भर हो रहे है। सरकारों ने भी आयुर्वेद, होम्योपैथी, प्राकृृतिक चिकित्सा आदि मे ं निरन्तर बजट प्रावधान कम रखने की प्रवृति बनाली है। ऐलोपैथी में कई बीमारियों का स्थाई ईलाज भी नहीं है। सरकारी व निजी अस्पतालों में भीड़ बढ़ती जा रही है और उपचार, जांच दिनोदिन महंगे होते जा रहे है । लोकार्पित पुस्तक अनेक बीमारियों के इलाज में सहायक होगी।
भाटी ने बताया कि इस छोटी सी पुस्तक में अनेक नुस्खे है जिनसे कम खर्च पर घर में ही ईलाज किया जा सकता है। पुस्तक में खांसी, जुकाम, सिरदर्द जैसी सामान्य बीमारियों के साथ कैंसर, लिवर, गुर्दा, चर्म रोग आदि बीमारियों का ईलाज सुलभ जड़ी बुटियों से किया जा सकता है। शून्य खर्च आधारित अर्थ व्यवस्था की परम्परा करने के लिए यह छोटा सा प्रयास होगा। इससे ऐलोपैथी चिकित्सकों की भीड़ व खर्चीली व्यवस्था को थोड़ा कम करने में सहायता मिलेगी। पोकेट बुक को हर समय पास रखकर ईलाज से स्वयं तथा दूसरों को भी लाभान्वित किया जा सकता है
बीकानेर में किसी पुस्तक के लोकार्पण के अब तक सर्वाधिक भीड़ के इस समारोह की शुरुआत भगवान धन्वन्तरि की पूजा-अर्चना से हुई। कार्यक्रम में भाटी की ओर से चलाएं गए गोचर भूमि संरक्षण व दीवार निर्माण कार्य के लिए अर्थ सहयोग की घोषणा की। समारोह में गणमान्य, विभिन्न शहरी व ग्रामीण क्षेत्रों से आए लोग मौजूद थे। भामाशाह तनसिंह चैहान जन सेवा संस्थान के जोगेन्द्रसिंह चैहान व राजेन्द्र सिंह चैहान ने सरह नथानिया में गोचर विकास के लिए 5 लाख 51 हजार रुपये देने की घोषणा की।