वंदन करने से पाप प्रवृतियों का क्षय होता है- आचार्य श्री विजयराज जी म.सा.
अपने घर की तुम खोज करो, जिसमें रहकर मौज करो- आचार्य श्री विजयराज जी म.सा.
जहां हर बात कही जाए, वह संतों का दरबार- आचार्य श्री विजयराज जी म.सा.
बीकानेर, 10 अक्टूबर। विधिपूर्वक, निष्काम भाव से, नियमित रूप से वंदन किया जाता है, उस वंदन की तरंगें प्रतिकूल परिस्थितियों को अनुकूल बना देती है। वंदन में विनय का भाव जुड़ा रहता है। यह सद्विचार 1008 आचार्य श्री विजयराज जी म.सा. ने व्यक्त किए। वे सोमवार को सेठ धनराज ढ़ढ्ढा की कोटड़ी में चल रहे चातुर्मास के नित्य प्रवचन में साता वेदनीय कर्म के दसवें बोल सत् पुरुषों को वंदन करता जीव साता वेदनीय कर्म का बंध करता है, विषय पर व्याख्यान दे रहे थे। आचार्य श्री विजयराज जी म.सा. ने वंदन की महत्ता बताते हुए कहा कि वंदन करने से सभी पाप प्रवृतियों का क्षय होता है। जिस पद्धति से पाप कर्मों का क्षय होता है, वह पद्धति हमें अपनानी चाहिए। वंदन हमें पाप पद्धतियों से विमुख करता है। जो वंदन करता है, उसके पुण्य का उदय होता है, जिसके पुण्य का उदय होता है, वही सब का प्रिय बन जाता है। वंदन हमें मार्ग दिखाता है। आचार्य श्री ने व्याख्यान से पूर्व एवं विराम पश्चात भजन ‘अपने घर की तुम खोज करो, जिसमें रहकर तुम मौज करो, पर घर को अपना घर माना, उसको ही अपना पहचाना, पर घर पीड़ा से तुम उबरो’ सुनाकर भजन के भावों की अभिव्यक्ति भी दी।
शान्त- क्रान्ति जैन श्रावक संघ
26 वां राष्ट्रीय खुला अधिवेशन हुआ, नवनिर्वाचित अध्यक्ष भूरट, महामंत्री सी.ए. जैन होंगे
बीकानेर। श्री शान्त क्रान्ति जैन श्रावक संघ का 26 वां राष्ट्रीय खुला अधिवेशन बीकानेर श्री संघ की मेजबानी में नोखा रोड स्थित होटल कला मंदिर में संपन्न हुआ। बीकानेर संघ के अध्यक्ष विजयकुमार लोढ़ा ने बताया कि दो दिन तक चले राष्ट्रीय अधिवेशन में गत वर्षों के कार्यकाल पर और आगामी कार्यक्रमों पर राष्ट्रीय पदाधिकारियों एवं कार्यकारिणी सदस्यों द्वारा चर्चा की गई।
अधिवेशन में सर्वसम्मति से राष्ट्रीय अध्यक्ष पद पर राजूजी भूरट को एवं सी ए विरेन्द्र जी जैन को आगामी कार्यकाल के लिए मंत्री घोषित किया गया। वर्तमान अध्यक्ष प्रकाशचंद जी श्री श्री माल एवं मंत्री रिद्धकरण जी सेठिया ने अपना कार्यभार , पद बेज के रूप में नवनिर्वाचित अध्यक्ष एवं मंत्री को सुपुर्द किया। इस अवसर पर सभी मंचस्थ अतिथियों का केशरिया पाग एवं मोतियों की माला पहनाकर, शॉल ओढ़ाकर तथा संघ दुपट्टा पहनाकर बहुमान किया गया। अध्यक्ष विजयकुमार लोढ़ा ने बताया कि नवनिर्वाचित अध्यक्ष एवं मंत्री का बीकानेर श्री संघ की ओर से स्वागत एवं सम्मान किया गया।
मुख्य वक्ता डॉ. श्रीमती सुषमा सिंघवी ने अपने संबोधन में संघ की शक्ति को बढ़ाने के लिए सभी श्रावक-श्राविकाओं से सहयोग की अपेक्षा करते हुए कहा कि संघ तभी मजबूत बन सकता है, जब हम संघ के लिए जी-जान से कार्य करें, इसके लिए हमें कंधे से कंधा मिलाकर चलना होगा और संघ की शक्ति को बढ़ाना होगा। श्री शान्त क्रान्ति महिला मंडल की वर्तमान अध्यक्ष श्रीमती अंजना जी कोचेटा का आगामी दो साल का कार्यकाल बढ़ाये जाने की घोषणा मंच से की गई। मुख्य अतिथि न्यायाधीश (उदयपुर कंज्यूमर कोर्ट) प्रकाश जी पगारिया ने संघ के प्रति निष्ठा जताते हुए संघ के लिए हरसंभव कार्य और सहयोग का भरोसा उपस्थितजनों को दिलाया।
इस अवसर पर संघ के पितामाह उम्मेदमल जी गांधी ने राष्ट्रीय संघ को संघ कार्यों के लिए जोधपुर स्थित महावीर वाटिका भूखण्ड समर्पित किया। वहीं नवनिर्वाचित अध्यक्ष राजू जी भूरट ने आगामी दो वर्ष में संघ की विभिन्न गतिविधियों के लिए पचास लाख रुपए की राशि भेंट करने की घोषणा की है। संघ अधिवेशन में समाजसेवी, उद्यमी नरेश गोयल, विजय कुमार लोढ़ा, किशनलाल बोथरा, प्रकाशचंद श्रीश्री माल, निहाल ढ़ढ्ढा, संघ के अशोक श्रीश्रीमाल, विनोद सेठिया, देवेन्द्र बांठिया, पवन सोनावत, वैभव गोलछा, अर्पित छाजेड़, महिला मंडल की विनिता सेठिया, मीना दस्साणी, आचार्य श्री विजयराज जी म.सा. के महत्वपूर्ण अभियान ‘मैं आत्महत्या नहीं करुंगा ’के संयोजक बच्छराज जी लूणावत, संजय सांड आदि मौजूद थे। अधिवेशन में बड़ी संख्या में शामिल श्रावक-श्राविकाओं ने संघ के नव अध्यक्ष नियुक्त होने पर ‘केशरिया -केशरिया आज हमारो मन केशरिया एवं हर्ष-हर्ष, जय-जय’ की उद्घोषणा से सभा में उत्साह का संचार किया। युवा संघ के विकास सुखाणी ने बताया कि आचार्य श्री विजयराज जी म.सा. के स्वर्णिम चातुर्मास में आयोजित किए जा रहे कार्यक्रमों का अतिथियों के सामने प्रस्तुतिकरण प्रोजेक्टर के माध्यम से किया, एवं कार्यक्रम के उद्देश्यों की जानकारी भी दी। कार्यक्रम का समापन राष्ट्रीय गीत के संगान से हुआ। दो दिवसीय कार्यक्रम के मुख्य संचालक प्रकाश चंद पगारिया एवं उनके साथ श्रीमती हंसा हिंगड़ ने संचालन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।