संगठित बनें, अध्यात्म का हो विकास : मुनिश्री जितेन्द्र कुमारजी
नौ जुलाई को गंगाशहर के तेरापंथ भवन में होगा चातुर्मासिक प्रवेश
बीकानेर, 04 जुलाई । अध्यात्म का विकास हो तथा हर नागरिक एकजुट व संगठित रहकर संस्कारित आचरण करे। उक्त सद्विचार सोमवार सुबह मुनिश्री जितेन्द्र कुमार जी ने सर्किट हाउस के समीप स्थित महावीर रांका के कार्यालय में व्यक्त किए। आचार्य तुलसी शांति प्रतिष्ठान के अध्यक्ष महावीर रांका ने बताया कि शांतिदूत आचार्यश्री महाश्रमणजी की आज्ञा से मुनिश्री जितेन्द्र कुमार जी, एवं उनके सहवर्ती मुनिश्री सुधांशुकुमारजी, मुनिश्री अनुशासन कुमारजी, मुनिश्री अनेकान्त कुमारजी व मुनिश्री गौतम कुमारजी का बीकानेर में चातुर्मास हेतु मंगलप्रवेश हुआ। श्रावक पवन महनोत ने बताया कि महावीर रांका कार्यालय के बाद रांगड़ी चौक स्थित लालकोठी में साध्वीवृंद के दर्शन के पश्चात् गंगाशहर के बोथरा चौक में महेन्द्र महनोत के नवनिर्मित आवास पर महाराजश्री पधारे।
चार दिन में 125 किमी विहार
आचार्य तुलसी शांति प्रतिष्ठान के अध्यक्ष महावीर रांका ने बताया कि युगप्रधान महाश्रमणजी की आज्ञा मिलने के बाद मुनिश्री जितेन्द्र कुमार जी, एवं उनके सहवर्ती मुनिश्री सुधांशुकुमारजी, मुनिश्री अनुशासन कुमारजी, मुनिश्री अनेकान्त कुमारजी व मुनिश्री गौतम कुमारजी राजलदेसर से चार दिनों में 125 किमी विहार कर बीकानेर पहुंचे। रोजाना करीब 31-32 किमी यात्रा वह चार दिनों में बदले मौसम के तहत कभी तेज गर्मी तो कभी बारिश के बीच रोजाना करीब 31-32 किमी यात्रा कर बीकानेर का मार्ग तय किया। अध्यक्ष रांका ने बताया कि नौ जुलाई को गंगाशहर स्थित तेरापंथ भवन में चातुर्मासिक प्रवेश होगा।