(गुजरात के विश्व विख्यात वन्यजीव वैज्ञानिक हुए शामिल)
बीकानेर 2 अक्टुबर। सम्भाग के सबसे बड़े राजकीय डूंगर महाविद्यालय के प्राणीशास्त्र विभाग द्वारा 2 से 8 अक्टुबर तक आयोजित वन्यजीव सप्ताह का आगाज शनिवार को हुआ। आयोजन सचिव डॉ. बलराम सांई ने प्रभावी संचालन करते हुए बताया कि कार्यक्रम के मुख्य अतिथि कॉलेज शिक्षा के सहायक निदेशक डॉ. राकेश हर्ष एवं उपाचार्य डॉ. इन्द्र सिंह राजपुरोहित ने किया। इस अवसर पर डॉ. राकेश हर्ष ने कहा कि वृक्षों एवं वन्यजीवों का संरक्षण करके ही इस प्रकार के सप्ताह की सार्थकता सिद्ध हो सकेगी। डॉ. हर्ष ने कहा कि वन्यजीवों के बिना मानव जीवन सम्भव नहीं है इसलिये मानव जीवन को बचाने के लिये वन्यजीवों को संरक्षण करना होगा। उपाचार्य डॉ. इन्द्र सिंह ने कहा कि आज के युग में सभ्यता एवं संस्कृति के बीच समन्वय बनाते हुए ही वन्य जीवों की रक्षा की जा सकेगी। उन्होनें विद्यार्थियों से इस प्रकार के कार्यक्रम में अधिकाधिक भागीदारी सुनिश्चित करने की अपील की।
विभागाध्यक्ष डॉ. राजेन्द्र पुरोहित ने अपने उद्बोधन में कहा कि “वन्य जीवों से प्रेम करें घृणा नहीं”। उन्होनें विद्यार्थियों से आह्वान किया कि पूरे सप्ताह भर चलने वाले इस कार्यक्रम में वन्यजीवों से संबंधित पूर्ण जानकारी हासिल करें तथा इसे समाज के प्रत्येक वर्ग तक पहुंचाने का कार्य करना होगा। डॉ. पुरोहित ने कहा कि बीकानेर राज्य में इतिहास काल से वन्यजीवों के प्रति सदैव प्रेम भाव रहा है एवं गजनेर का वन्यजीव अभ्यारण्य एवं झील इसका ज्वलंत उदाहरण है।
मुख्य वक्ता वन्यजीव विशेषज्ञ डॉ. प्रताप सिंह ने बताया कि भारत में कुल चार हॉट स्पॉट हैं जिनमें से हिमालयन रेन्ज, इण्डो म्यामार, वेस्टर्न घाट तथा अण्डबार निकोबार के कुछ द्वीप समूह प्रमुख हैं। डॉ. प्रताप ने साम्बर एवं केवालादेव रामसर साइट की जैव विविधता संरक्षण की महत्ता पर प्रकाश डाला। उन्होनें बाघों सहित दुर्लभ वन्य जीवों की घटती हुए संख्या पर गहरी चिन्ता व्यक्त करते हुए उनके संरक्षण करने की आवश्यकता जताई। डॉ. प्रताप ने बताया कि कार्यक्रम में वन्यजीव वैज्ञानिक डॉ. जितेन्द्र सोलंकी, गुजरात के अहमदाबाद एवं बड़ौदा से अन्तर्राष्ट्रीय स्तर के वन्य जीव वैज्ञानिक श्री रूपल वैद्य, श्री प्रेमल पटेल, श्री नीलेश शाह, श्री चिराग खम्बभाटी, रविकरण पटेल तथा धैवत मेहता सहित बड़ी संख्या में महाविद्यालय के संकाय सदस्य एवं विद्यार्थियों ने सहभागिता की।
आयोजन सचिव महेन्द्र सिंह सोलंकी ने बताया कि 2 से 8 अक्टुबर तक चलने वाले इस कार्यक्रम में क्विज, निबंध एवं फोटोग्राफी प्रतियोगिता, वन्य क्षेत्रों का भ्रमण आदि कार्यक्रम आयोजित किये जावेगें।
आयोजन सचिव महेन्द्र सिंह सोलंकी ने अतिथियों का धन्यवाद ज्ञापित किया।
प्राचार्य